स्वच्छ, सस्ती और सुलभ ऊर्जा उपलब्धता सरकार की प्राथमिकता: मुख्य सचिव आनंद बर्धन, ऊर्जा विभाग की समीक्षा बैठक में परियोजनाओं को समयबद्ध पूरा करने और पारदर्शिता के निर्देश।
उधम सिंह राठौर – प्रधान संपादक
देहरादून। मुख्य सचिव आनंद बर्धन ने कहा कि प्रदेशवासियों को स्वच्छ, सस्ती, सुलभ और विश्वसनीय ऊर्जा उपलब्ध कराना राज्य सरकार की प्राथमिकता है। वे जीएमएस रोड स्थित उत्तराखंड जल विद्युत निगम (यूजेवीएनएल) के सभागार में ऊर्जा विभाग की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे।
बैठक में यूजेवीएनएल, यूपीसीएल और पिटकुल से जुड़े सभी प्रोजेक्ट की स्थिति, प्रगति और भविष्य की रणनीतियों पर चर्चा की गई। मुख्य सचिव ने स्पष्ट निर्देश दिए कि किसी भी परियोजना की निविदा प्रक्रिया तकनीकी, वित्तीय, पर्यावरणीय और प्रशासनिक स्वीकृतियों के बाद ही शुरू की जाए ताकि भविष्य में बाधाओं से बचा जा सके।
प्रोजेक्ट डिले की लागत और ऊर्जा हानि का लेखा-जोखा तैयार करने के निर्देश
मुख्य सचिव ने निर्देश दिए कि तीनों निगम (यूजेवीएनएल, पिटकुल, यूपीसीएल) अपने-अपने प्रोजेक्ट की शुरुआती और अंतिम लागत, देरी के कारणों और ऊर्जा दक्षता में हानि का विस्तृत विश्लेषण करें। उन्होंने कहा कि देरी से बढ़ी लागत और हानि को रोकने के लिए व्यावहारिक उपाय अपनाए जाएं।
लंबी अवधि की ऊर्जा नीति का खाका तैयार करें निगम
मुख्य सचिव ने कहा कि तीनों निगम अगले 5, 10, 15 और 25 वर्षों की ऊर्जा आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए मध्यकालिक और दीर्घकालिक योजना तैयार करें। इसमें लक्ष्यों, संभावनाओं और रणनीतियों का स्पष्ट उल्लेख किया जाए।
उत्तराखंड पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (UPCL) को विशेष निर्देश
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तराई क्षेत्रों में खंडवार विद्युत लॉस का विवरण दें।
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स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट में तेजी लाएं।
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उद्योगों और व्यावसायिक प्रतिष्ठानों में मीटरिंग को प्राथमिकता दें।
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भूमिगत लाइन प्रोजेक्ट में जिला प्रशासन और विभागों से समन्वय बनाकर कार्य प्रगति सुनिश्चित करें।
पिटकुल को दिए गए निर्देश
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भारत सरकार के केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण से पारेषण तंत्र का अध्ययन कराएं।
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हाइटेंशन लाइन का नियमित निरीक्षण करें।
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नई तकनीक अपनाकर सुरक्षा सुनिश्चित करें।
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भूमि अधिग्रहण मुआवजे में वृद्धि पर भी विचार करें।
यूजेवीएनएल को दिए गए निर्देश
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न्यूक्लियर पावर प्लांट की संभावना का अध्ययन करें।
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लखवाड़ बहुउद्देशीय परियोजना में तेजी लाएं।
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निर्माणाधीन व विकासशील परियोजनाओं की स्थिति का विस्तृत विवरण दें।
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यूपीसीएल और यूजेवीएनएल आपसी समन्वय से बकाया भुगतान सुनिश्चित करें।
मुख्य सचिव ने एशियाई विकास बैंक, विशेष सहायता अनुदान व मुख्यमंत्री घोषणाओं से जुड़ी परियोजनाओं की नियमित मॉनिटरिंग और बोर्ड अनुमोदन अनिवार्य करने के निर्देश दिए।
राजस्व और क्षमता में उल्लेखनीय वृद्धि
यूजेवीएनएल द्वारा अवगत कराया गया कि राज्य गठन के समय विद्युत उत्पादन क्षमता 1101 मेगावाट थी, जो अब बढ़कर 4264 मेगावाट हो गई है। वर्ष 2024-25 में निगम ने 1136 करोड़ रुपये का राजस्व अर्जित किया और 95 करोड़ का मुनाफा दर्ज किया।
बैठक में उपस्थित रहे वरिष्ठ अधिकारी
बैठक में प्रमुख सचिव ऊर्जा आर. मीनाक्षी सुंदरम, अपर सचिव रंजना राजगुरु, यूजेवीएनएल के एमडी संदीप सिंहल, यूपीसीएल के अनिल कुमार, पिटकुल के पीसी ध्यानी सहित विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।


